“Boat Ride: शरद पूर्णिमा पर भोपाल में श्रीराधा-कृष्ण करेंगे नौका विहार; घोड़ा नक्कास से निकलेगी शोभायात्रा, मंदिरों पर होंगे धार्मिक आयोजन”



मध्य प्रदेश में शरद पूर्णिमा का भव्य उत्सव शरद पूर्णिमा के अवसर पर सोमवार को मध्य प्रदेश की राजधानी भूपाल में विभिन्न मंदिरों में विशेष धार्मिक आयोजनों का आयोजन किया…

“Boat Ride: शरद पूर्णिमा पर भोपाल में श्रीराधा-कृष्ण करेंगे नौका विहार; घोड़ा नक्कास से निकलेगी शोभायात्रा, मंदिरों पर होंगे धार्मिक आयोजन”

मध्य प्रदेश में शरद पूर्णिमा का भव्य उत्सव

शरद पूर्णिमा के अवसर पर सोमवार को मध्य प्रदेश की राजधानी भूपाल में विभिन्न मंदिरों में विशेष धार्मिक आयोजनों का आयोजन किया जाएगा। इस दिन श्री हिंदू उत्सव समिति के तत्वावधान में भगवान श्रीराधा-कृष्ण की भव्य शोभायात्रा भी निकाली जाएगी, जिसमें श्रद्धालु बड़ी संख्या में भाग लेंगे।

शोभायात्रा का विवरण

समिति के अध्यक्ष पं. चंद्रशेखर तिवारी ने बताया कि शरद पूर्णिमा समारोह के लिए हर्षवर्धन चौकसे को संयोजक के रूप में नियुक्त किया गया है। शोभायात्रा का आयोजन रात 8 बजे से घोड़ा नक्कास स्थित श्रीराधा-कृष्ण मंदिर से प्रारंभ होगा। यह शोभायात्रा जनकपुरी, जुमेराती और सिंधी मार्केट से होती हुई सोमवारा स्थित कर्फ्यू वाली माता मंदिर पहुंचेगी।

इसके बाद शोभायात्रा फिर से शुरू होकर रात 9:30 बजे बड़ा तालाब स्थित शीतल दास की बगिया पहुंचेगी। इस दौरान भगवान श्रीराधा-कृष्ण आकर्षक पुष्प सज्जित और विद्युत रोशनी से सुसज्जित नौका पर सवार होकर चांदनी रात में नौका विहार करेंगे। यह अद्भुत दृश्य देखने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु उपस्थित रहेंगे।

धार्मिक आयोजन और कार्यक्रम

इस भव्य उत्सव में कई धार्मिक कार्यक्रम भी आयोजित किए जाएंगे, जिसमें आतिशबाज़ी, भजन संध्या और आरती शामिल हैं। यह आयोजन न केवल धार्मिक बल्कि सांस्कृतिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण होगा। श्रद्धालुओं को इस अवसर पर भगवान श्रीराधा-कृष्ण का दर्शन करने का सौभाग्य प्राप्त होगा।

  • शोभायात्रा का समय: रात 8 बजे से
  • शोभायात्रा का मार्ग: घोड़ा नक्कास, जनकपुरी, जुमेराती, सिंधी मार्केट
  • नौका विहार का समय: रात 9:30 बजे
  • विशेष कार्यक्रम: आतिशबाज़ी, भजन संध्या, आरती

प्रसाद का वितरण

कार्यक्रम के बाद श्रद्धालुओं को खीर का वितरण किया जाएगा, जो इस विशेष दिन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। नौका विहार के बाद भगवान श्रीराधा-कृष्ण पुनः शीतल दास की बगिया के घाट पर पधारेंगे, जहां श्रद्धालुओं को प्रसादी का वितरण किया जाएगा। यह परंपरा हर वर्ष श्रद्धालुओं के बीच खास महत्व रखती है।

शरद पूर्णिमा का यह पर्व न केवल धार्मिक आस्था का प्रतीक है, बल्कि यह समाज में भाईचारे और एकता का संदेश भी देता है। इस दिन श्रद्धालु एकत्र होकर एक-दूसरे के साथ मिलकर इस पावन पर्व का आनंद लेते हैं।

समापन विचार

मध्य प्रदेश की राजधानी में शरद पूर्णिमा का यह आयोजन निश्चित रूप से एक अद्भुत अनुभव बनेगा। श्रद्धालुओं की भागीदारी और भव्यता के साथ, यह उत्सव हर किसी के दिल में एक विशेष स्थान बनाएगा।

धार्मिक आस्था को प्रकट करने वाला यह पर्व सभी के लिए सुख और समृद्धि की कामना करता है। सभी श्रद्धालुओं को इस अवसर पर भगवान श्रीराधा-कृष्ण का आशीर्वाद प्राप्त हो, यही कामना है।

MP News in Hindi

लेखक –

Recent Posts