रांची पुलिस की गहरी नींद: सुरक्षा व्यवस्था पर उठे सवाल
राजधानी रांची की सड़कों पर सुरक्षा व्यवस्था को लेकर गंभीर चिंताएँ उठ रही हैं। हाल ही में किए गए निरीक्षण में यह सामने आया है कि पुलिसकर्मी गहरी नींद में सो रहे हैं, जबकि उनकी जिम्मेदारी शहरवासियों की सुरक्षा है। एसएसपी राकेश रंजन की सख्ती के बावजूद पुलिसकर्मियों की लापरवाही जारी है। यह न केवल रांची के नागरिकों के लिए चिंता का विषय है, बल्कि पुलिस विभाग की कार्यप्रणाली पर भी सवाल खड़े करता है।
रविवार की रात को एसएसपी ने विभिन्न स्थानों पर औचक निरीक्षण किया, लेकिन इसके बावजूद स्थिति में कोई सुधार नहीं दिखा। सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि पिछले 60 दिनों के अपराध आंकड़ों में चुटिया और डोरंडा थाने में चोरी की घटनाएं सबसे अधिक पाई गईं। इसके अलावा, जगन्नाथपुर और धुर्वा थाने में भी चोरी की घटनाएं बढ़ी हैं। ऐसे में यह स्पष्ट है कि पुलिस की सुरक्षा व्यवस्था में कमी है और यह नागरिकों के लिए चिंताजनक है।
शहर की सड़कों पर पुलिस की लापरवाही
दैनिक भास्कर के रिपोर्टर ने अगली रात शहर की सड़कों पर सुरक्षा व्यवस्था की पड़ताल की। रिपोर्ट में पाया गया कि पीसीआर और पेट्रोलिंग में तैनात पुलिसकर्मी गहरी नींद में सोते हुए मिले। यह स्थिति बेहद चिंताजनक है, क्योंकि यदि कोई अपराधी उनके पास से गुजर जाए तो उन्हें इसकी भनक भी नहीं लगेगी। पुलिसकर्मियों के इस लापरवाह रवैये ने सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर प्रश्नचिन्ह खड़ा कर दिया है।
एक घटना में, बहुबाजार चौक पर रात 1:34 बजे पुलिस की गाड़ी सड़क पर खड़ी थी, जबकि ड्राइवर और पुलिस पदाधिकारी गहरी नींद में थे। भास्कर की टीम ने उनकी तस्वीरें लेने की कोशिश की, लेकिन वे जागने के लिए भी तैयार नहीं थे। इसी तरह, डोरंडा एजी मोड़ पर भी रात 12:22 बजे पुलिसकर्मी नींद में पाए गए।
पुलिस की लापरवाही की विस्तृत रिपोर्ट
रात 2:41 बजे कांके चांदनी चौक पर भी पुलिस की पूरी टीम गहरी नींद में थी। गाड़ी की लाइट जल रही थी, लेकिन पुलिसकर्मियों की नींद नहीं खुली। यह सब घटनाएँ यह दिखाती हैं कि पुलिसकर्मी न केवल अपनी जिम्मेदारियों से भाग रहे हैं, बल्कि वे अपनी ही सुरक्षा के प्रति भी लापरवाह हैं।
कौन से इलाके हो रहे हैं सबसे ज्यादा प्रभावित?
पुलिस की लापरवाही के चलते कुछ महत्वपूर्ण चौक और इलाके हैं जहाँ पीसीआर वाहन गायब मिले। इनमें शामिल हैं:
- सुजाता चौक
- सिरमटोली चौक
- सर्जना चौक
- अलबर्ट एक्का चौक
- शहीद चौक
- न्यू मार्केट चौक
- किशोरगंज चौक
- मुक्तिधाम कटिंग चौक
- सहजानंद चौक
- हरमू चौक
- पिस्का मोड़ चौक
- कांके रोड स्थित राम मंदिर चौक
- मोरहाबादी
- कचहरी चौक
- जेल मोड़
- प्लाजा चौक
इस प्रकार की लापरवाही रांची की सुरक्षा व्यवस्था के लिए एक गंभीर चिंता का विषय है। रात एक बजे के बाद, पुलिसकर्मी अक्सर शहर की सड़कों से गायब हो जाते हैं और सुनसान जगहों पर जाकर आराम फरमाने लगते हैं। ऐसे में नागरिकों की सुरक्षा के प्रति उनकी जिम्मेदारी और भी कम हो जाती है।
क्या है इस लापरवाही का समाधान?
पुलिस की इस स्थिति को सुधारने के लिए आवश्यक है कि उच्च अधिकारी इस पर गंभीरता से ध्यान दें। उन्हें न केवल अपने कर्मचारियों की निगरानी करनी होगी, बल्कि यह सुनिश्चित करना होगा कि वे अपनी जिम्मेदारियों को समझें और नागरिकों की सुरक्षा के प्रति सजग रहें। इसके लिए नियमित निरीक्षण और सख्त अनुशासनात्मक कार्रवाई की आवश्यकता है।
रांची की सुरक्षा व्यवस्था को सुधारने के लिए यह अनिवार्य है कि पुलिसकर्मी अपनी ड्यूटी को गंभीरता से लें और नागरिकों की सुरक्षा में सजग रहें। अगर ऐसा नहीं हुआ, तो यह न केवल उनके लिए बल्कि पूरे शहर के लिए खतरनाक हो सकता है।



















